प्रेम शर्मा,लखनऊ।
उत्तर प्रदेश इंजीनियर्स एसोसिएएशन के अध्यक्ष इं. सुरजीत निरंजन और अटेवा के अध्यक्ष विजय बन्धु ने प्रदेश सरकार से कोरोना का शिकार शासकीय सेवकों और शिक्षकों के परिजनों को निर्धारित समय सीमा में एक करोड़ की मुआवजा राशि दिए जाने की मांग की है।
यूपीईए के अध्यक्ष सुरजीत निरंजन ने कहा कि प्रदेश के समस्त अभियंत्रण विभागों,निगमों,सार्वजनिक उपक्रमों के अनेक अभियंता त्रिस्तरीय पंचायत सामान्य निर्वाचन-2021 में निर्वाचन ड्यूटी के दौरान कोरोना से संक्रमित हुए हैं, जिसमें कई अभियंताओं की कोरोना से मृत्यु भी हो गयी है। शासन द्वारा मतदान एवं मतगणना के समय जिन कार्मिकों की कोरोना से हुई मृत्यु हुई है, उन्हीं को 30.00 लाख अनुग्रह धनराशि दी जा रही है, जो उचित नहीं है। इसे एक करोड़ रूपये किया जाए। निर्वाचन अथवा मतदान हेतु जारी कार्यालय आदेश से जब तक उनकी ड्यूटी रही है यदि उस दौरान वह कोरोना से संक्रमित हुआ और दुर्भाग्यवश उसकी मृत्यु हो गयी तो उनको भी अनुग्रह धनराशि दी जानी चाहिए। जब कार्मिक जीवित अवस्था में कोरोना से संक्रमित था तो पोस्टमार्टम रिपोर्ट में कोरोना संक्रमण की जाॅच का कोई औचित्य नहीं है। सरकार कर्मियों के चिकित्सीय प्रपत्र का परीक्षण करा ले। इस सम्बन्ध में सरकार को मानवीय दृष्टिकोण से विचार करना चाहिए।
अटेवा के प्रदेश अध्यक्ष विजय कुमार बन्धु ने कहा कि पंचायत चुनाव के दौरान प्रशिक्षण, मतगणना व मतदान के दौरान या बाद जिन शिक्षकों कर्मचारियों को उत्तर प्रदेश ने खोया है उनके परिवार की जिम्मेदारी उत्तर प्रदेश सरकार की है और इसी क्रम में उत्तर प्रदेश सरकार मांग की है कि वह उन शिक्षकों कर्मचारियों को जो शहीद हुए हैं उनके परिवार को एक करोड़ की सहायता राशि दी जाये। प्रदेश महामंत्री नीरजपति त्रिपाठी ने कहा कि सरकार हठधर्मिता छोड़ें, संवेदनशील बने और शिक्षकों कर्मचारियों के हित में फैसला ले अन्यथा की स्थिति में शिक्षकों कर्मचारियों को मजबूर होकर के एक बड़े आंदोलन की तरफ जाना पड़ेगा।