बैंड-बाजों की अगुवाई में निकली भव्य सवारी,भक्तों ने पुष्प वर्षा कर किया स्वागत,102 वर्ष पुरानी परंपरा में उमड़ा आस्था का सागर, 26 अक्टूबर को निकलेगी “कंस की दुहाई” सवारी
हिन्दुस्तान वार्ता। ब्यूरो
आगरा। भक्ति,परंपरा और सांस्कृतिक गौरव का अद्भुत संगम बना आगरा का ऐतिहासिक श्रीकृष्ण लीला महोत्सव,जो इस वर्ष अपने 102वें वर्ष में प्रवेश कर चुका है। शनिवार को महोत्सव का शुभारंभ गौशाला प्रांगण स्थित हनुमान जी मंदिर में मुकुट पूजन और श्री गणेश जी की सवारी के साथ हुआ।
मुकुट पूजन विधि-विधान पूर्वक विधायक पुरुषोत्तम खंडेलवाल,लीला समिति के संरक्षक डॉ.विजय किशोर बंसल,गौशाला समिति के महामंत्री सुनील सिंघल,नेशनल चैंबर ऑफ इंडस्ट्रीज एंड कॉमर्स के अध्यक्ष संजय गोयल,अध्यक्ष मनीष अग्रवाल,लीला संयोजक शेखर गोयल,पार्षद मुरारी लाल गोयल, गिर्राज बंसल, सुमन गोयल द्वारा किया गया।
पूजन के उपरांत श्री गणेश जी की सवारी का नगर भ्रमण गौशाला प्रांगण बल्केश्वर रोड से आरंभ हुआ। सवारी की अगुवाई बैंड-बाजों ने की, जिनके साथ जय श्रीकृष्ण के उद्घोषों से पूरा मार्ग भक्तिमय वातावरण में डूब गया। शोभायात्रा का मार्ग रहा जीवनी मंडी, बेलनगंज, कचहरी घाट, रावतपाड़ा, सुभाष बाजार,जौहरी बाजार, कस कसेरट बाजार, छिली ईंट घटिया, सिटी स्टेशन,धूलियागंज, बेलनगंज तिकोनिया और पुनः गौशाला प्रांगण। मार्ग में श्रद्धालुओं ने सवारी पर पुष्पवर्षा कर गणेश जी का भव्य स्वागत किया।
महामंत्री विजय रोहतगी,अशोक गोयल, मनोज बंसल,धर्मेन्द्र कुमार चौधरी,विष्णु अग्रवाल राधे राधे,आयुष बंसल, केके अग्रवाल, ब्रजेश अग्रवाल, दीपक ढल, सतीश अग्रवाल, अनूप गोयल, विनीत, लक्ष्मण शर्मा, पंकज मोहन, अनंत उपाध्याय, आदर्श नंदन गुप्त, मुकेश शर्मा, प्रभात रोहतगी तनु गुप्ता आदि उपस्थित रहे।
रविवार को निकलेगी “कंस की दुहाई” सवारी :
अध्यक्ष मनीष अग्रवाल ने बताया कि रविवार 26 अक्टूबर को श्रीकृष्ण लीला महोत्सव के अंतर्गत पारंपरिक “कंस की दुहाई सवारी” निकाली जाएगी। इस सवारी में विविध झांकियों के माध्यम से कंस द्वारा अपने को राजा घोषित करना, अपनी शक्ति का प्रदर्शन तथा पूतना, अघासुर और बकासुर जैसे दानवों के दृश्य प्रदर्शित होंगे।
एक विशेष झांकी में कंस द्वारा अपने पिता महाराज अग्रसेन को कारागार में डालने का प्रसंग भी प्रस्तुत किया जाएगा। यह सवारी शाम 4:30 बजे गौशाला प्रांगण, बल्केश्वर रोड से आरंभ होकर जीवनी मंडी, भैरों बाजार, बेलनगंज, कचहरी घाट, छत्ता बाजार, रावतपाड़ा, सुभाष बाजार, जौहरी बाजार, किनारी बाजार, फुलट्टी,घटिया, सिटी स्टेशन, धूलियागंज,बेलनगंज मार्ग से होते हुए पुनः गौशाला पहुँचेगी।
भक्ति और अनुशासन का अद्भुत संगम :
विधायक पुरषोत्तम खंडेलवाल ने कहा कि लीला महोत्सव आगरा की आत्मा में बस चुका है। यह आयोजन न केवल भक्ति का उत्सव है,बल्कि यह हमारी सांस्कृतिक पहचान का जीवंत प्रतीक भी है। पूरे नगर में महोत्सव को लेकर भक्तों में अपार उत्साह है।
महोत्सव के अंतर्गत होगी मानव सेवा भी :
अध्यक्ष मनीष अग्रवाल ने बताया कि बहुत जल्द इस धार्मिक आयोजन में मानव सेवा के कार्य किए जाएंगे। विशाल रक्तदान एवं स्वास्थ्य शिविर लगाकर लोगों को बड़ी संख्या में लाभ पहुंचाया जाएगा।
श्रीकृष्ण लीला महोत्सव की दिनवार कार्यक्रम सूची :
26 अक्टूबर (रविवार) – कंस की दुहाई सवारी
27 अक्टूबर (सोमवार) – देवकी-वसुदेव विवाह, श्रीकृष्ण जन्मोत्सव एवं मयूर नृत्य
28 अक्टूबर (मंगलवार) – नंदोत्सव, पूतना उद्धार एवं डांडिया नृत्य
29 अक्टूबर (बुधवार) – काले खां, मदन मोहन लीला एवं फूलों की होली,
30 अक्टूबर (गुरुवार) – श्रीकृष्ण बलराम गोचरण यात्रा (कमला नगर, बल्केश्वर क्षेत्र) तथा माखन चोरी एवं कालीदह लीला
31 अक्टूबर (शुक्रवार) – मीराबाई चरित्र लीला (पहली बार मंचन)
1 नवंबर (शनिवार) – गिरिराज पूजन एवं छप्पन भोग
2 नवंबर (रविवार) – वीर अभिमन्यु चक्रव्यूह लीला (नवीन प्रस्तुति)
3 नवंबर (सोमवार) – अक्रूर गमन, कंस वध एवं आतिशबाजी
4 नवंबर (मंगलवार) – श्रीकृष्ण-बलराम की शोभायात्रा (30 से अधिक झांकियाँ और सवारियाँ)
5 नवंबर (बुधवार) – द्वारका पुरी एवं रुक्मिणी मंगल लीला (मेहंदी कार्यक्रम सहित)
6 नवंबर (गुरुवार) – श्री खाटू श्याम जी भजन संध्या एवं मनमोहक झांकी




