कर्मचारियों की सम्बद्धता के लिए प्रर्दशन, मिला आश्वासन

 


प्रेम शर्मा,लखनऊ। 

लोहिया संस्थान में 9 सम्बद्ध कर्मियों को मुख्य चिकित्सा अधीक्षक द्वारा कार्यमुक्त करने के विरोध में आज लोहिया के निदेशक के कार्यालय के समक्ष धरना की चेतावनी के बीच प्रमुख सचिव  चिकित्सा शिक्षा आलोक कुमार, सचिव सौरभ बाबू के हस्तक्षेप के उपरांत लोहिया संस्थान के निदेशक ने कर्मचारी नेताओ को वार्ता के लिए आमंत्रित किया , उन्होंने कहा कि राजभवन में एक अनिवार्य बैठक होने के कारण सोमवार को मामले का निस्तारण कर दिया जाएगा व इस सम्बंध में शासन को पत्र भी प्रेषित कर दिया गया है । 

राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद के महामंत्री अतुल मिश्रा के नेतृत्व में प्रतिनिधिमंडल में परिषद के प्रमुख उपाध्यक्ष सुनील यादव, सवीपं कर्मचारी अस्तित्व बचाओ मोर्चा के अध्यक्ष डीडी त्रिपाठी, उपाध्यक्ष अनिल कुमार, राजेश श्रीवास्तव मंत्री, डी एस पाण्डेय ,राजेश शुक्ला, आर के पी सिंह, अनिल प्रताप सिंह सम्मिलित थे ।पदाधिकारियों ने कहा कि सी एम एस  प्रतिनियुक्ति व सम्बद्ध कर्मचारियों के साथ द्वेष की भावना रखते हैं उन्होंने निदेशक को भ्रमित कर आदेश पारित कर लिया है। जिससे कर्मचारियों को आंदोलन करने पर विवश किया जा रहा है।जबकि इस के संबंध में वर्ष 2019 वर्ष 2020 वर्ष 2021 में लगातार पत्र शासन को प्रेषित किए गए हैं कोरोना काल होने के कारण शासन में  कोई निर्णय नहीं हो पाया । शासन के  निर्णय का इंतजार किए बिना किसी आदेश के तानाशाही रवैया को अपनाते हुए महानिदेशक स्वास्थ्य के आदेश का उल्लेख करते हुए कार्य मुक्त कर दिया गया। उक्त पत्र में जिस आदेश का उल्लेख किया है वह आदेश सूचना से संबंधित था जो कर्मचारियों की संख्या को लेकर था। उन्होंने कहा कि  ’बाध्य होकर आज  निदेशक तथा मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डॉ राम मनोहर लोहिया आयुर्विज्ञान संस्थान कार्यालय के समक्ष धरना व घेराव करने का निर्णय लिया गया था ।