हिन्दुस्तान वार्ता।
कांग्रेस के प्रवक्ताओं विशेष तौर पर आलोक शर्मा और सुप्रिया श्रीनेत को शर्म नहीं आती घड़ियाली आँसू बहते हुए या सरकार को उकसाते हुए।
बीस-तीस साल तक देश के जवानों को पत्थर से पिटवाया,सड़क पर कपड़े उतरवाए,भारत के झंडे जलवाते रहे,कोई भारत का झंडा लगाने की जुर्रत कश्मीर में नहीं कर सका। बॉर्डर पर लगे जवान पाकिस्तानियों की गालियाँ खाते रहे, उनका मानसिक बलात्कार होता रहा। उनके पास गोली खाने का अधिकार था, लेकिन गोली चलाने का नहीं था।
कश्मीरी हिंदुओं को अपने ही कश्मीर में कत्लेआम और वहाँ से निकलवा दिया। देश के हर राज्य में आतंकी हमले होते रहे और कांग्रेस सरकार नपुंसकों की तरह मूक दर्शक बैठकर देखती रही। आपकी सरकार आतंकियों के साथ बिरयानी खाती रही और आज मोदी सरकार को कार्रवाई के लिए उकसा रहे हो,आपके इन विलापों में पहलगाम के मुद्दे पर दुःख नहीं बल्कि सरकार को मुसीबत में फंसाकर तमाशा कैसे देखा जाए,देश की बढ़ती अर्थव्यवस्था और विकास छिन्न भिन्न कैसे हो,आपका मकसद जनता स्पष्ट रूप से समझ रही है। फिर भी ये मोदी सरकार है,कार्रवाई होगी,अपनी कल्पना से बड़ी होगी,कैसे होगी,कब होगी,यह आपको केवल होने के बाद ही पता चलेगा।आप लोगों को इतना भी नहीं मालूम कि सैनिक कार्रवाइयाँ गुप्त होतीं हैं।
जब बार-बार बताने के लिए टीवी पर बैठकर चिल्लाते हो,बताने के लिए दबाव है तो आपके मुंह से कहीं न कहीं गद्दारी की बदबू आती है। आप देश के साथ हैं या देश खिलाफ हैं,आपकी इस फितरत को देश की जनता अच्छी तरह समझ चुकी है।
जय हिन्द...🚩