नहरी पानी की सीमित उपलब्‍धता के बावजूद, नहरें पूरी क्षमता से चलाये जाने को कटिबद्धता:सहा.अभियंता,केनाल।

 



-- सिंचाई विभाग नान रोस्‍टर दिवसों के पानी का संचय करने के प्रयासों को लेकर भी  गंभीर।

हिन्दुस्तान वार्ता।आगरा

आगरा मंडल के आगरा ,मथुरा जनपदों में अत्‍यधिक भूजल दोहन के कारण डार्क ब्‍लाकों की स्‍थिति अत्‍यंत गंभीर हो चुकी है। नहरी पानी की सीमित उपलब्‍धता के कारण सिंचाई,औद्योगिक उत्‍पादन इकाईयों तथा ट्यूब बैल सप्‍लाई आधारित बसावटों के समक्ष हालात अत्‍यंत गंभीर हो चुके हैं।

उ प्र सिंचाई विभाग के सहायक अभियंता पंकज अग्रवाल ने आगरा नहर के टर्मिनल 'जोधपुर झाल' से शुरू होने वाली नहरों की स्‍थिति का जायजा लिया। उन्‍होंने कहा कि नहरों को उनकी पूरी क्षमता के साथ चलाया जाना विभाग का लक्ष्‍य है। इसके लिये जो भी कार्य संभव होगा, किया जायेगा। उन्‍होंने कहा कि आगरा जनपद के बडे भाग को सिंचाई के लिये नहरी पानी उपलब्‍ध करवाने वाली नहरें 'आगरा कैनाल 'के टेल पर हैं।जो पानी ऊपर से मिलता है, उसी का उपयोग नहरी रोस्‍टर सुचारू करने के लिये मिल पाता है।आगरा को आवंटित पानी का भाग नियमति और पूरा मिले इसके लिये उनका प्रयास है।

 नहरी पानी पर बढा दबाब..।

एक जानकरी में उन्‍होंने कहा कि भूजल के गिरते जलस्‍तर के कारण नहरी पानी पर लगातार दबाब बढता रहा है।विभिन्‍न कारणों से किसान भूगर्भ से दाहित पानी की तुलना में अपने खतों में नहरी पानी ही लगाना चाहते हैं। कमांड एरिया में लगातार दबाब बढ रहा है।विभाग अपने संसाधनों से यथा संभव इसके अनुरूप व्‍यवस्‍था में सक्रिय है। एक जानकारी में माना कि अगर वर्षा औसत से कम होती है तो नहरी पानी पर दबाब सामान्‍य स्‍थितियों में कहीं अधिक बढ जाता है। हालांकि आगरा में अभी इस प्रकार की संभावना प्रतीत नहीं होती।

जल संचय की योजना के प्रति गंभीर...।

जल संरक्षण प्रयासौं के प्रति गंभीर स्‍वयंसेवी श्री सचिन अग्रवाल के द्वारा पूछी गयी एक जानकारी में सहायक अभियंता ने कहा कि आगरा विकास प्राधिकरण की शास्‍त्रीपुरम योजना के छोर पर लगभग ढाई हैक्‍टेयर का जलाशय बनाये जाने की संभावना पर फिलहाल वह सटीकता से  कुछ भी  कहने की स्‍थिति में नहीं है। जनपद में सिंचाई विभाग के पास सीमित जल राशि की ही उपलब्‍धता है, लेकिन जल संचय की कोई उपयोगी योजना बनती है तो विभाग जल उपलब्‍धता के सापेक्ष यथा संभव योगदान देने को तत्‍पर है।

शास्‍तीपुरम में जलाशय बनाया जाना संभव...।

सुप्रीम कोर्ट मानीटरिंग केमेटी के सदस्‍य श्री रमन ने शास्‍त्रीपुरम में जलाशय बनाये जाने की संभावना को महत्‍वपूर्ण बताते हुए कहा कि आगरा नहर के सिकंदरा राजवाह के पानी को पंप लगाकर नाले में बहाने के स्‍थान पर अगर सिंचित किया जा सके तो यह शासन की जलसंरक्षण नीति केअनुकूल और  सर्वथा उपयोगी कदम होगा। उन्‍हों ने कहा कि सामान्‍य व्‍यक्‍ति के तौर पर तो उन्‍हें हमेशा प्रतीत हुआ है कि सिकंदरा राजवाह की टेल पर पहुंचने वाले पानी का जलाशय के रूप में संरक्षण होना चाहिये। यह जलाशय शास्‍त्रीपुरम के आवासीय और औद्योगिक ब्‍लाकों में तेजी से गिरते जलस्‍तर को थामने में तो उपयोगी होगा । यही नहीं अगर जलसंरक्षण की इस संरचना को सही प्रकार से बनाया जा सका तो यह अपने आप में समूचे शास्‍तीपुर के निवासियों के लिये विशिष्‍ट आकर्षण होगी।

श्री रमन ने कहा कि फिलहाल वह केवल अपनी निजी जानकारियों के आधार पर ही 'शास्‍त्रीपुरम जलाशय संरचना ' के बारे में कह रहे हैं, किन्‍तु सिंचाई विभाग , आगरा विेकास प्राधिकरण इसके लिये स्‍टैटिक्‍स और सहमति दे देंगे तभी वह टी टी जैट ए और जिला वैटलैंड कमेटी के समक्ष यह मामला उठायेंगे। फिलहाल उन्‍होंने सिकंदरा राजवाह के संबध में सिचाई विभाग से जल की उपलब्‍धता , राजवाह की सुदृढता तथा इससे सिंचित क्षेत्र आदि की जानकारी अपेक्षित की है। श्री रमन ने कहा कि वह नहीं चाहेंगे कि सिंचाई विभाग के रोस्‍टर किसी भी स्‍थिति में प्रभावित हों या जलाशय के लिये किसी आवंटन की जरूरत हो। अगर जल और उसे संचय करने के लिये जमीन की उपलब्‍धता है तो उनका प्रयास हर हालत में योजना को क्रियान्‍वयन को लेकर रहेगा।

एफ एस ब्रांच की क्ष्‍मता...।

श्री रमन ने आगरा नहर की एफ एस ब्रांच में पानी की पर्याप्‍त उपलब्‍धता टेलों तक सुनिश्‍चित करने के लिये  सफाई और नहर संचालन के दिवसों में कडी निगरानी की आवश्‍यकता पर बल दिया । उन्‍होंने कहा कि छोटा कोसी से फतेपुर सीकरी ब्‍लाक की सीमा में पहुंचने तक नहर के पानी में बडी मात्रा में गैर कानूनी तरीके से दोहित कर लिया जाता है,जिसे हर हाल मे रोका जाना चाहिये। श्री रमन ने टर्मिनल राजवाह और सिकंदरा राजवाह के अनुरक्षा और पानी को रैग्‍यूलेट करने के कार्य को प्रभावी बनाये जाने के लिये अतरिक्‍त अतरिक्‍त सैल्‍यूस गेओ की जरूरत बतायी।

जोधपुर झाल योजना में गिरता जलस्‍तर थामने का लक्ष्‍य नहीं:

जलाधिकार फाऊंडेशन आगरा के श्री राजीव सक्‍सेना ने कहा कि जोधपुर झाल को लेकर जो भी योजना शासन क्रियान्‍वित करवा रहा है, वह मथुरा और आगरा हितो के अनुरूप नहीं है।यह भूजल के गिरते जलस्‍तर को थामने के लक्ष्‍य को नजर अंदाज कर यह बनायी गयी  बनायी है।  चूकि यह योजना प्रदेश के मुख्‍यमंत्रीजी  के द्वारा घोषित की गयी है, इस लिये इसके संबध में उन्‍हीं के संज्ञान में तथ्‍यपरक जानकारी लाकर ही कुछ बदलाव संभव है। फिलहाल इस समय इससे ज्‍यादा कुछ कहने की स्‍थिति में नहीं हैं।

श्री सक्‍सेना ने सिकन्‍दरा राजवाह के ' नान रोस्‍टर' पानी से शास्‍त्रीपुरम में जलाशय बनाये जाने की संभावनाओं को गंभीरता से लेकर प्रयास करने पर बल दिया।

रिपोर्ट-असलम सलीमी।