आगरा एवं मथुरा-वृंदावन एवं गोवर्धन की नई महायोजना 2031 शासन स्तर पर है लंबित: नेशनल चैम्बर





नई महायोजना के अभाव में यूपी ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट 2023 के निवेशकों को नहीं मिल पा रही है उचित भू उपयोग की भूमि।

अनुबंध के अनुरूप नहीं हो पा रही है ग्राउंड ब्रेकिंग सेरेमनी।

इन शहरों में अवैध निर्माण को मिल रहा है प्रोत्साहन।

नई महायोजना वर्ष 2031 की जाए  शीघ्र स्वीकृत और लागू।

हिन्दुस्तान वार्ता। ब्यूरो

आगरा: 2 दिसंबर, ब्रज क्षेत्र के अंतर्गत आगरा एवं आसपास के शहरों में विकास कार्यों पर चिंतन करते हुए एक पत्र माननीय मुख्यमंत्री महोदय एवं अन्य वरिष्ठ अधिकारी गणों को चैम्बर द्वारा प्रेषित किया गया।  चैम्बर अध्यक्ष राजेश गोयल ने कहा कि आगरा एवं  मथुरा वृंदावन गोवर्धन की नई महायोजना के स्वीकृत होने व लागू होने में विलंब होने से ब्रज क्षेत्र का विकास रुक रहा है। उत्तर प्रदेश ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट 2023 के निवेशकों को अपनी परियोजनाओं को स्थापित करने के लिए उचित भू उपयोग (लैंड यूज) की भूमि उपलब्ध नहीं हो पा रही है।  जिसका प्रमुख कारण पुरानी महायोजना में रिक्त भूमि की अल्पतर मात्रा है।  उन्होंने आगे कहा की नई महायोजना 2031 का प्रारूप 2 वर्ष पूर्व तैयार हो गया था एवं जनता/हितधारकों से सुझाव एवं आपत्तियां मांगी गयी थीं जिन्हें  नियोजन विभाग द्वारा प्रारूप में समावेश कर शासन को प्रेषित कर दिया गया है।  किंतु यह महायोजना अभी शासन स्तर पर स्वीकृति हेतु लंबित है।  पत्र के माध्यम से माननीय मुख्यमंत्री महोदय से निवेदन किया गया है कि आगरा, मथुरा-वृंदावन एवं गोवर्धन की महायोजना 2023 को त्वरित रूप से स्वीकृत किया जाए एवं लागू किया जाए

भू-संपदा प्रकोष्ठ के समन्वयक राहुल जैन द्वारा बताया गया कि नवीन महा योजनाओं के विस्तारित क्षेत्र में नए औद्योगिक, आवासीय, सामुदायिक पार्क, पार्किंग, वाणिज्यिक भूखंड,  नई सड़कें  इत्यादि भू-उपयोग चिन्हित हैं। अतः नई महायोजना के लागू होने से आगरा, मथुरा-वृंदावन एवं गोवर्धन के साथ साथ आगरा के आसपास के शहरों  में सुनियोजित विकास हो सकेगा।